रायपुर। वाणिज्यिक कर जीएसटी विभाग द्वारा वर्षों पुराने विवादित बकाया प्रकरणों के निपटारे के लिए एकमुश्त समाधान योजना शुरू की गई है। योजना...
रायपुर। वाणिज्यिक कर जीएसटी विभाग द्वारा वर्षों पुराने विवादित बकाया प्रकरणों के निपटारे के लिए एकमुश्त समाधान योजना शुरू की गई है। योजना के माध्यम से कारोबारियों का धन व समय दोनों की ही बचत हो रही है। विभागीय अधिकारियों ने बताया कि 31 मार्च तक इस योजना का लाभ लिया जा सकता है। फरवरी माह तक इस योजना में 9,852 प्रकरणों का निपटारा हुआ और 6,040 करोड़ रुपये की राहत हितग्राहियों को दी गई है। इसके साथ ही इससे विभाग को भी 20 करोड़ का राजस्व मिला है। योजना के अंतर्गत विभाग द्वारा कर राशि में 27.10 करोड़, ब्याज में 16.17 करोड़ और शास्ति में 16.58 करोड़ रुपये की राहत अब तक बकायादार कारोबारियों को दी जा चुकी है। राज्य जीएसटी विभाग से मिली जानकारी के अनुसार रायपुर संभाग क्रमांक-1 में 2,754, रायपुर संभाग क्रमांक-2 में 2,051, बिलासपुर संभाग क्रमांक-1 में 974, बिलासपुर संभाग क्रमांक-2 में 2,663 और दुर्ग संभाग में 1,410 बकाया मामलों का निराकरण किया जा चुका है। मालूम हो कि जीएसटी विभाग की बकाया समाधान योजना में 50 लाख रुपये से कम बकाया वाले प्रकरणों में कर राशि का 60 प्रतिशत, ब्याज 90 प्रतिशत और शास्ति की पूरी राशि माफ करने का प्रविधान है। इसी तरह 50 लाख रुपये से अधिक राशि वाले प्रकरणों में कर राशि का 40 प्रतिशत, ब्याज का 90 प्रतिशत और शास्ति की पूरी राशि माफ करने का प्रविधान है। जीएसटी लागू होने के पहले के विधानों के अंतर्गत विक्रय कर, वाणिज्यिक कर, वैट कर के प्रांतीय, केंद्रीय, प्रवेश कर, होटल कर और वृत्ति कर के मामले में बकाया राशि की वसूली के लिए लागू की गई है। योजना में सभी सर्वोच्च व उच्च न्यायालयों, अपीलीय न्यायालयों में निगरानी अथवा शासन के समक्ष विचाराधीन प्रकरणों में लागू होगी।
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